हरियाणा के मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने प्रसिद्ध उपन्यासकार और पद्मभूषण पुरस्कार से सम्मानित विष्णु प्रभाकर को इलाज के लिए एक लाख रुपये की सहायता दी है। ९६ वर्षीय विष्णु प्रभाकर पिछले ५० वर्षों से साहित्य की सेवा कर रहे हैं। उन्होंने हिंदी की सभी विधाआें में २०० से अधिक पुस्तकें लिखी हैं। इनमें उपन्यास, कहानी, निबंध, समालोचना और नाटक शामिल हैं। उनको सोवियत लैंड नेहरू पुरस्कार और मूर्ति देवी साहित्य सम्मान से भी सम्मानित किया गया है।
विष्णु प्रभाकर का हरियाणा से विशेष लगाव रहा है। वे १६ वर्षों तक हिसार के हरियाणा कृषि फार्म में सेवारत रहे। वे हरियाणा की मिट्ट ी से जु़डे रहे हैं। उन्होंने हरियाणवी परिवेश को लेकर भी काफी कहानियां लिखी हैं। अर्धनारीश्वर नामक उपन्यास बंगाली साहित्यकार शरतचंद्र के जीवन पर आधारित है, जो १४ वर्ष के शोध के बाद लिखा गया। इस उपन्यास के कारण वे चर्चा में आए। उन्हें इस उपन्यास पर पदम भूषण पुरस्कार से सम्मानित किया गया। नवप्रभात और डा टर नाटक ने भी उन्हें काफी प्रसिद्धि दिलवाई। हरियाणा सरकार द्वारा पहला सूर पुरस्कार विष्णु प्रभाकर को ही दिया गया था।
साभार अमर उजाला
विष्णु प्रभाकर का हरियाणा से विशेष लगाव रहा है। वे १६ वर्षों तक हिसार के हरियाणा कृषि फार्म में सेवारत रहे। वे हरियाणा की मिट्ट ी से जु़डे रहे हैं। उन्होंने हरियाणवी परिवेश को लेकर भी काफी कहानियां लिखी हैं। अर्धनारीश्वर नामक उपन्यास बंगाली साहित्यकार शरतचंद्र के जीवन पर आधारित है, जो १४ वर्ष के शोध के बाद लिखा गया। इस उपन्यास के कारण वे चर्चा में आए। उन्हें इस उपन्यास पर पदम भूषण पुरस्कार से सम्मानित किया गया। नवप्रभात और डा टर नाटक ने भी उन्हें काफी प्रसिद्धि दिलवाई। हरियाणा सरकार द्वारा पहला सूर पुरस्कार विष्णु प्रभाकर को ही दिया गया था।
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