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चित्तौड़गढ़ में राजस्थानी कवि का सम्मान

महाराज शिवदान सिंह का एकल काव्य पाठ मेवाड़ के बहुत गहरी समझ वाले राजस्थानी के सादे विचारों वाले साहित्यकार महाराज शिवदान सिंह के दोहों को लेकर चित्तौडगढ में सेंथी स्तिथ डॉ. सत्यनारायण व्यास के निवास स्थान पर पंद्रह अगस्त की शाम चार बजे नगर के प्रबुद्ध लोगों के बीच एकल काव्य पाठ आयोजित किया गया.बहुत अरसे के बाद नगर में हुए इस काव्य पाठ के पहले सत्र में कवि शिवदान सिंह के विस्तृत परिचय के साथ ही संभागियों का स्वागत डॉ. व्यास ने किया.अभी तक प्रकाशित अपनी तीन किताबों की प्रतिनिधि रचनाओं को पढ़ते हुए कवि सिंह ने श्रोताओं को भाव विभोर किया. सिंह ने दोहे पढ़ने से पहले अपने कवि बनने तक का का सफ़र व्यंग शैली में जताया .कुछ गहरी समझ और कुछ नए नवेले श्रोताओं को ये काव्य पाठ अलग अलग स्तर पर प्रभावित करता रहा. मूल रूप से भीलवाड़ा जिले के कारोई के महाराजा होते हुए भी फूटपाथ की सी रचनाएँ करते हुए शिवदान सिंह ने जीवन की अनुभूतियों को बहुत गंभीरता के साथ अपने साहित्य कर्म में समेटा है.सतत्तर सालों की उम्र पार कवि सिंह बेहद सरल और मृदुभाषी है.राजस्थानी के साथ-साथ वे मूर्तिकला और चित्रकारी में भी मह

मधुरेश, ज्योतिष जोशी और डॉ.शोभाकांत झा को प्रमोद वर्मा सम्मान

द्वितीय प्रमोद वर्मा स्मृति समारोह-2010 वाणी परमार को प्रथम शोध वृति अज्ञेय और शमशेर पर राष्ट्रीय संगोष्ठी रायपुर । प्रमोद वर्मा स्मृति संस्थान द्वारा हिन्दी आलोचना में उल्लेखनीय योगदान के लिए 2010 का प्रमोद वर्मा सम्मान प्रख्यात कथा-आलोचक मधुरेश और युवा आलोचक ज्योतिष जोशी को प्रदान किया गया । इसके अलावा प्रमोद वर्मा रचना सम्मान से वरिष्ठ ललित निबंधकार डॉ. शोभाकांत झा को अंलकृत किया गया तथा वाणी परमार को एक वर्ष की शोधवृत्ति प्रदान की गई । प्रेमंचद जयंती के अवसर पर आयोजित समारोह में प्रतिष्ठित रचनाकार-आलोचक द्वय डॉ. धनंजय वर्मा और नंदकिशोर आचार्य ने क्रमश- 21, 11 व 7 हज़ार रुपये की नगद राशि, स्मृति चिन्ह, अलंकरण पत्र प्रदान कर रचनाकारों का सम्मान किया । इस प्रतिष्ठित सम्मान के चयन समिति के सदस्य थे – केदार नाथ सिंह, विश्वनाथ प्रसाद तिवारी, विजय बहादुर सिंह, डॉ. धनंजय वर्मा व विश्वरंजन । इसके पूर्व यह सम्मान श्रीभगवान सिंह और कृष्ण मोहन को मिल चुका है । 1965 से आलोचना कर्म में सक्रिय श्री मधुरेश ने कहा कि उनकी सोच साहित्य में सकारात्मकता से है । रचना और आलोचना में ईमानदारी पर बल दिये ब

मगही दिवस के रूप मे मनेगी योगेश की जयंती

बाढ़ । मगही कवि स्व. योगेश्वर सिंह योगेश की पुण्यतिथि समारोह के मौके पर बीती रात नीरपुर गांव मे अखिल भारतीय मगही-कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। सम्मेलन की अध्यक्षता साहित्यकार (magahi akadami ke adhyaksh) उदय शंकर ने की जबकि संचालन मगही के चर्चित कवि रामाश्रय झा ने किया। सम्मेलन मे बिहार व यूपी की विभिन्न जगहो से आये साहित्य- काव्य के कई दिग्गज पुरोधा शामिल हुए। कवियो की व्यंगात्मक व समाजिक कुरितियो पर प्रहार करती काव्य रस की सुर सरिता मे श्रोतागण देर रात तक झूमते रहे। हिसुआ से आये चर्चित कवि दीनबंधु, कवि कारू गोप, जयराम जी, व गोपालगंज के पंकज जी समेत अन्य साहित्यकारो ने सामाजिक अव्यवस्था पर चोट करती कविता पाठकर लोगो को मंत्र मुग्ध कर दिया। इस मौके पर कवि योगेश फाउंडेशन के द्वारा मगही मंडल के अध्यक्ष व वरिष्ठ साहित्यकार डा. रामनंदन जी को 2010 का योगेश शिखर सम्मान प्रदान किया गया। एक साथ जुटे मगही साहित्य के दिग्गजो ने इस मौके पर घोषणा किया कि कवि स्व. योगेश की जयंती 23 अक्टूबर को मगही दिवस के रूप मे मनाया जायेगा। समापन समारोह को संबोधित करते हुए मृत्युंजय कुमार ने कहा कि कवि योगेश जी क

वापस ली गईं नया ज्ञानोदय की प्रतियां

ज्ञानपीठ की साहित्यिक पत्रिका में विभूति नारायण राय के विवादास्पद साक्षात्कार में लेखिकाओं के बारे में की गई टिप्पणी के बाद उठे तूफान को शांत करने के लिए बाजार से नया ज्ञानोदय की विवादित प्रतियां वापस ले ली गई हैं। इसके संपादक रवीन्द्र कालिया ने इस पूरे मामले के लिए हिंदी समाज से क्षमा मांगी है। ज्ञानपीठ के निर्देशक रवीन्द्र कालिया ने कहा कि बाजार में बची हुई नया ज्ञानोदय पत्रिका की प्रतियां वापस ले ली गई हैं और साक्षात्कार के हिस्से को हटाकर दो एक दिन में इसे फिर से प्रकाशित कर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि ज्ञानपीठ पुरस्कार समारोह के सिलसिले में गोवा प्रवास में होने के कारण वह अपने संपादकीय दायित्वों का निर्वहन नहीं कर सके, जिसके चलते पत्रिका में यह भूल चली गई।

कवि योगेश की पुण्यतिथि पर होगा हस्तियों का जमावड़ा

१२ अगस्त को गांव नीरपुर में महाकाब्य गौतम और मगही रामायण का लोकार्पण बिहार के स्वास्थ्य मंत्री नंदकिशोर यादव, एनओयू के वीसी जितेंद्र कुमार भी जाएंगे साहित्यिक हस्तियों के अलावा अभिनेता मनोज तिवारी के भी पहुंचने की संभावना मगही और हिंदी के प्रसिद्ध कवि योगेश्वर प्रसाद योगेश की प्रथम पुण्यतिथि पर बड़े कार्यक्रम की तैयारी है। महाकवि योगेश फाउंडेशन की ओर से आयोजित १२ अगस्त के इस कार्यक्रम में बिहार सरकार के वरिष्ठï मंत्री नंदकिशोर यादव, नालंदा ओपन यूनिवर्सिटी के कुलपति जितेंद्र कुमार सिंह और वरिष्ठï साहित्यकार प्रोफेसर रामदेव शुक्ल के अलावा कई बड़ी हस्तियां शामिल होंगी। इस दौरान मगही के प्रथम महाकाव्य गौतम और मगही रामायण का लोकार्पण किया जाएगा। कार्यक्रम में भोजपुरी सुपरस्टार मनोज तिवारी के भी पहुंचने की आशा है। फाउंडेशन के सचिव अनिल कुमार ने बताया कि इस दिन कवि योगेश के पैतृक गांव नीरपुर में अखिल भारतीय मगही भाषा सम्मेलन का अधिकवेशन होगा, जिसमें देश भर से मगही के कवि भाग लेंगे। कार्यक्रम का प्रथम सत्र दोपहर एक बजे से शुरू होगा। इसमें योगेश रचित महाकाव्य गौतम और मगही रामायण का लोकार्पण किय

फिर विवादों में वीएन राय

लेखक वीएन राय फिर विवादों में हैं। राय साहब जब से महात्मा गांधी अंतर्राष्टï्रीय हिंंदी विश्वविद्यालय के वीसी बने हैं तब से ही विवाद उनका पीछा नहीं छोड़ रहे। कभी उनको अपने जाति के व्यक्ति को अध्यापक नियुक्त करने पर आलोचना का सामना करना पड़ता है तो कभी उन्हें दलित जाति के अध्यापक को विश्वविद्यालय से निकाल देने के लिए जातिवादी कहा जाता है। अब कहा जा रहा है कि उहोंने भारतीय ज्ञानपीठ से निकलने वाली मासिक पत्रिका नया ज्ञानोदय को दिए साक्षात्कार में महिलाओं पर अश्लील टिप्पणी की है। इस पर महिला लेखकों ने ऐतराज जताया है और मानव संशाधन मंत्रालय से उनके इस्तीफे की मांग की है। हालांकि अपने इस्तीफे की मांग को राय ने फासिस्ट करार दिया है। लेकिन मानव संसाधन मंत्रालय ने कहा है कि महिलाओं के खिलाफ ऐसी टिप्पणी उनके सम्मान को ठेस पहुंचाने वाली और मर्यादा के प्रतिकूल है। मंत्रालय इस संबंध में आई खबरों का पता लगाएगा और अगर सही पाया गया तो कार्रवाई करेगा। मानव संसाधन मंत्रालय को इस तथ्य पर भी ध्यान देना चाहिए कि महात्मा गांधी हिंदी विश्वविद्यालय जब से बना है अपनी पढ़ाई से कम अपने वीसी के कारण अधिक चर्चा मे